प्रिय भैया [भाई का नाम],
नमस्ते। मैं इस पत्र के माध्यम से आपको एक महत्वपूर्ण विषय पर बात करना चाहता/चाहती हूँ जिसमें आपका मार्गदर्शन और सहायता मुझे आवश्यक है।
मैंने अपने आचरण के परिप्रेक्ष्य में आत्म-मूल्यांकन किया है और मुझे लगता है कि मैं कुछ स्थितियों में सही नहीं काम कर रहा/रही हूँ। मैं अपने जीवन के विभिन्न पहलुओं को देखकर यह महसूस करता/करती हूँ कि मेरा व्यवहार और आचरण बेहतर हो सकता है।
मैं जानता/जानती हूँ कि आप मेरे लिए मेरे साथ हैं और मेरे लिए हमेशा सहायक हैं। इसलिए मैं आपसे यहाँ पर सहायता मांग रहा/रही हूँ। कृपया मेरे आचरण की ओर दिशा निर्देशन करें और अगर आपके पास कोई सुझाव या अनुभव है तो कृपया उन्हें साझा करें।
मेरी इच्छा है कि मैं आपके सुझावों और मार्गदर्शन के साथ अपने आचरण में सुधार कर सकूँ और बेहतर व्यक्ति बन सकूँ। मैं यकीनन जानता/जानती हूँ कि आपकी शिक्षा और अनुभव से मैं उचित दिशा में आगे बढ़ सकता/सकती हूँ।
आपकी बातों का मुझ पर गहरा प्रभाव होता है और मैं आपके उत्तर की प्रतीक्षा कर रहा/रही हूँ। धन्यवाद आपके समय और सहायता के लिए।
आपका आभारी भाई/बहन,
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