27, वसंत सोसायटी,
अलकापुरी,
सूरत – 395003।
27 अक्तूबर, 2020
प्रिय भाई सुलभ,
सस्नेह आशीर्वाद।
दीदी के पत्र से तुम्हारी अस्वस्थता का समाचार मिला। तुम आए दिन इस प्रकार बीमार पड़ जाते हो, इसका क्या कारण है? तुम्हारी प्रथम सत्रांत परीक्षा भी नजदीक आ रही है। माताजी और पिताजी भी बहुत चिंतित होंगे।
तुम्हारा शरीर कमजोर हो गया है, इसलिए तुम बार-बार बीमार हो जाते हो। व्यायाम तुम करते नहीं। खेल-कूद से तुम हमेशा दूर भागते हो। तुम्हें यह ध्यान रखना चाहिए कि सिर्फ अच्छा भोजन करने से ही अच्छी सेहत नहीं बन जाती। अच्छे भोजन से अच्छी सेहत तभी बन सकती है, जब उचित और पर्याप्त व्यायाम भी किया जाए। व्यायाम से भोजन का पाचन ठीक से होता है। शरीर मजबूत बनता है। आलस्य कभी पास नहीं फटकता। मन में उत्साह बना रहता है। स्वस्थ शरीर और स्वस्थ मन ही सारी सफलताओं के आधार हैं। सचमुच, व्यायाम सुखी और सफल जीवन की कुंजी है।
तुम्हें प्रतिदिन सुबह या शाम नदी के किनारे घूमने जाना चाहिए। रोज सुबह पच्चीस दंड-बैठक और कुछ आसन करने चाहिए । खेलों से भी अच्छा व्यायाम हो जाता है।
मुझे विश्वास है कि मेरी सलाह मानकर तुम तुरंत व्यायाम शुरू कर दोगे। माताजी और पिताजी को प्रणाम । छोटी मनीषा को खूब दुलार ।
तुम्हारा भाई,
कमल शाह