बिकेंद्री ने पहाड़ पर चढने के लिए दो दल बनाए गए। सुबह हल्का नाश्ता करने के बाद साढे पाँच बजे तंबू से निकल पडे। अंग दोरजी के साथ बगैर रस्सी के ही चढाई की। वहाँ जमी हुई बर्फ काटने के लिए फावडे का इस्तेमाल किया। कभी नायलॉन रस्सी के सहारे चढाई की। ऑक्सीजन की आपूर्ति रेगुलेटर पर बढाकर कठिन चढाई आसान बनाई।